Saturday 3 September 2016

कविता. ९०५. पडदे मे छुपी बात।

                                           पडदे मे छुपी बात।
पडदे मे कई बार बाते छुपी रहती है जो बाहर ले आये या ना ले आये वह मुश्किलसी रहती है जो बात जीवन मे हर पल छुपी रहती है उसे परख लेने कि जरुरत अक्सर दुनिया मे रहती है जो जीवन को अलग अलग तरह के मकसद देकर चलती है।
पडदे मे कई बार कितने किस्सों कि कहानी बनती है जो जीवन मे अक्सर दुनिया को अलग सोच देती है जो पडदे के पिछे भी रहकर जीवन पर असर कई तरह के दे जाता है पर कब उस बात को सामने लाये वह ईश्वर तय करता जाता है।
पडदे मे कई बार कितने राजों को रखना पडता है जीवन मे बात बिघडे जीवन कि सौगाद ना बिघडे इसलिए चुप रह जाना पडता है पर हर बात को बाहर तो वह खुदा लाता है नाम बदलो उसका कितना भी पर वह उसी राह पर चलता जाता है।
पडदे मे कई बार कोई छुप के से आता है जो सच्ची सोच पर चल दे वही तो जीवन मे कई रंगों का मालिक कहलाता है हम चाहे जितना जीत का दम भर ले वह ही हमे चुपके से जीत दे जाता है जब हम रोते है तो वह हर बार कहाँ नजर आता है पर फुरसत मे से कभी चुपके से अनकहे ही सौगाद दे जाता है।
पडदे मे कई बार छुपा कर सच्चाई जो कहता है कभी कभी वह भी अपने मुँह से ही कहने कि ताकद रखता है क्योंकि पडदे के पिछे छुपा वह उसे कुछ ऐसी उम्मीद दे जाता है जीवन कि सीधी बातों को बदलाव कि कहानी बनाकर जाता है।
पडदे मे कई बार छुपा एहसास दुनिया को मतलब दे जाता है जो जीवन का मकसद बदलता है वही तो समझाता है कब किस बात को परख लेना अहम रहता है जीवन कि धारा को अलग तरीके से समझकर जीवन तो आगे बढते जाता है।
पडदे मे कई बार छुपा कर रखी बातों के जीवन का अलगसा रंग दिख जाता है जीवन को कई किस्सों मे कहते रहने कि जरुरत को जीवन कई हिस्सों मे परखकर आगे बढते जाने कि सोच होता है जो हमे आगे लेकर बढता जाता है।
पडदे मे कई बार छुपाकर रखे खयालों को हर मौके पर जीवन मे अलग एहसास दे जाता है जिसे समझ लेना ही तो अहम नजर आता है पडदे के पार रखी बातों का एहसास जुदा नजर आता है जो जीवन के हर किनारे पर सुबह अलग देकर जाता है।
पडदे मे कई बार छुपा जीवन का राज उस पल वही रहता है पर आखिर कुछ लम्हों के बाद जीवन उस सच को बाहर लाता है जिसे परख लेना ही तो जीवन मे नई साँसे दे जाता है जिन्हे परखकर ही तो जीवन कि दिशाए वह हर बार बदलता जाता है।
पडदे मे कई बार छुपा एहसास हमे आगे लेकर जाता है जिसे हर पल हर कोने मे समझ लेना जीवन कि दिशा मे अलग रोशनी लाता है जो एहसासों को समझ ले उस सोच को परख लेना ही तो पडदे के पिछे छुपी चीजों को बाहर लेकर आता है आगे चलता जाता है।

No comments:

Post a Comment

कविता. ५१२५. किनारों को अंदाजों की।

                              किनारों को अंदाजों की। किनारों को अंदाजों की समझ एहसास दिलाती है दास्तानों के संग आशाओं की मुस्कान अरमान जगाती...