Thursday 16 June 2016

कविता ७४७. जीवन कि सही आदत

                                             जीवन कि सही आदत
हर बार जीवन कि आदत हर पल हमे आगे ले जाती है उसे परख लेने कि दुनिया को हर मोड पर अहमियत नजर आती है
पर अफसोस तो उस हर पल का है जिसमे दुनिया बदल जाती है खुशियों कि जगह हमे हर पल आँसूओं कि लकिर दे जाती है
पर अगर हम उस पल ही रुक जाये तो दुनिया बदलाव दे जाती है जीवन कि हर एक सोच कि कहानी हर पल मे बदलती रहती है
जब हम जीवन कि आदत को दोहराने लगते है तो सही बात दोहराने कि अहमियत हर पल नजर आती है जीवन कि दिशाए बदलती जाती है
जीवन कि आदत को समझ लेने कि जरुरत हर बार मन को नजर आती है जीवन कि आदत हर पल जीवन मे बदलती रहती है
पर सही चीजों कि अहमियत कहाँ कभी कम हो पाती है वह बाते हर पल जीवन को बदलकर आगे लेकर जाती है जीवन का मतलब बदलकर जाती है
जीवन कि आदत को समझ लेने कि आदत हर बार उम्मीदों कि नई सुबह दे जाती है जीवन कि रोशनी हर बार हर इशारे पर बदल जाती है
किसी पल को समझ लेने कि जरुरत दुनिया मे अक्सर होती है आदत सही हो तो वह दुनिया मे सुबह लेकर आती है वह जीवन कि ताकद बन जाती है
आदत तो वह एहसास है जिस से दुनिया बन जाती है कोई सही बात दोहराये तो उसकी जरुरत जीवन मे अक्सर नजर आती है
आदत ही तो दुनिया होती है जिसमे सही सोच हो तो जीवन मे खुशियाँ आ जाती है आदत को सही रखे तो उस से ही दुनिया बनती है

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