Thursday 14 April 2016

कविता ६२१. हर बात सीधी नही होती है

                                       हर बात सीधी नही होती है
जीवन कि हर बात सीधी नही होती है जब हम जिद्द पकड लेते है तो जीवन मे हालात आसान नही होते है जीवन मे जस्बात हमे समझ लेने होते है
जीवन कि हर सुबह और श्याम एकसी नही होती है जो हर बार बदल जाती है वह जिन्दगी बिना मतलब कि कभी बनती नही है
जीवन मे हालात को बदल लेने कि जरुरत हर बार होती ही है पर कभी कभी जीवन मे वह बात मुमकिन नही हो पाती है
जीवन कि दिशाए समझकर आगे जाने से भी दुनिया नही बदल पाती है हमे जीवन मे आगे जाने कि जरुरत हर कदम पर अक्सर नजर आती है
जीवन कि दिशाए हर बार आसान नही होती है जिन्हे समझकर आगे जाने कि जरुरत जीवन मे तो हर बार होती ही है
जीवन को तरह तरह से समझकर आगे जाने कि जरुरत हर बार नही होती है जो दिशाए जरुरी है उनसे ही जीवन कि कहानी बनती है
जीवन को अलग अलग एहसास मे जीवन को परखकर आगे जाने कि चाहत हर बार तो जीवन मे होती ही रहती है
जीवन को समझकर तो परख लो तो जीवन को अलग दिशाओं मे हर बार रोशनी देकर जाता है पर कई बार जिद्द से सीधी राह भी तेढी नजर आती है
जिद्द को समझकर अगर उसे तोडकर जाये तो हमारी दुनिया कुछ अलगसी बन जाती है जिसमे दुनिया कि ताकद हर बार छुपी होती है
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